अंतरिम बजट 2024 में देश के विकास को ध्यान में रखते हुए वित्त मंत्री निर्मला सीतारमण ने कई बड़े ऐलान किए. इस दौरान उन्होंने नारी शक्ति पर जोर देते हुए कहा कि कैसे समाज में महिलाओं की भूमिका मजबूत हो रही है और सरकार भी उनके स्वास्थ्य, शिक्षा स्तर में परिवर्तन के लिए कदम उठा रही है.
निर्मला सीतारमण ने संसद में बताया कि पिछले वर्षों में महिलाओं को मुद्रा योजना के तहत 30 करोड़ रुपए का लोन दिया गया है. उन्होंने बताया कि उद्यमिता के माध्यम से महिलाओं के सशक्तिकरण, जीवनयापन में आसानी और उनके लिए सम्मान ने इन 10 वर्षों में गति पकड़ी है और महिला उद्यमियों को 30 करोड़ मुद्रा योजना ऋण दिए गए हैं.
वित्त मंत्री ने ये भी बताया कि उनकी सरकार माताओं एवं उनके शिशुओं की स्वास्थ्य के देखभाल को व्यापक कार्यक्रम के तहत लेकर आएगी, उनके बेहतर पोषण वितरण, प्रारंभिक बचपन की देखभाल और विकास के लिए सक्षम आंगनवाड़ी और पोषण 2.0 योजना के तहत आंगनवाड़ी केंद्रों के उन्नयन में तेजी लाई जाएगी, टीकाकरण के प्रबंधन और गहनता के लिए नए डिजाइन किए गए यू-विन प्लेटफॉर्म का उपयोग किया जाएगा, मिशन इंद्रधनुष के प्रयासों को आगे बढ़ाया जाएगा.
इसी तरह महिलाओं को स्वास्थ्य सुविधा देने की कड़ी में कहा गया है कि आयुष्मान भारत में आशा और आंगनवाड़ी कार्यकर्ता कवर होंगी. इसके लिए उन्हें सभी तरह की सुविधा दी जाएगी. सर्वाइकल कैंसल से भी लड़कियों को मुक्त रखने के लिए मुफ्त टीकाकरण शुरू किया जा चुका है.
वित्त मंत्री ने बताया कि केंद्र सरकार की योजनाओं के चलते पिछले 10 वर्षों में उच्च शिक्षा में महिलाओं का नामांकन 28 प्रतिशत बढ़ा है. उनकी उद्यमशीलता में भी तेजी से विकास हुआ है. लगभग 9 करोड़ महिलाओं की जिंदगी इन योजनाओं से बदली है. इसी तरह से ग्रामीण इलाकों में भी महिलाओं को सशक्त करने पर ध्यान दिया जा रहा है, सरकार ने अब तक 1 करोड़ महिलाओं को ‘लखपति दीदी’ बनाया है, अब लक्ष्य 2 करोड़ का नहीं बल्कि 3 करोड़ का रखा गया है.
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