राष्ट्रीय जांच एजेंसी (NIA) ने पंजाब नार्को-आतंकवाद मामले में दो आरोपितों की कई अचल संपत्तियों को जब्त कर लिया है. इसमें कथित तौर पर प्रतिबंधित खालिस्तान लिबरेशन फोर्स (केएलएफ) के एजेंटों द्वारा शौर्य चक्र पुरस्कार विजेता कॉमरेड बलविंदर सिंह संधू की हत्या की गई थी. एनआईए की ओर से बुधवार (20 मार्च) को जारी बयान में कहा गया है कि कुर्की की यह कार्रवाई मंगलवार (19 मार्च) को की गई.
जांच एजेंसी के मुताबिक एनआईए की विशेष अदालत के आदेश पर कार्रवाई करते हुए आरोपित गुरविंदर सिंह उर्फ बाबा के नाम पर पंजीकृत पीरन बाग गांव और सलीमपुर अरियन गांव में संपत्तियों को जब्त कर लिया है. इसके अलावा जियोबाला गांव में हरभिंदर सिंह उर्फ पिंदर उर्फ ढिल्लों के नाम पर दर्ज एक भूखंड भी कुर्क किया गया. कुर्की की कार्रवाई गैरकानूनी गतिविधियां (रोकथाम) अधिनियम 1967 की धारा 33 (i) के तहत की गई है.
एनआईए के मुताबिक जांच में कथित तौर पर पता चला था कि हरभिंदर सिंह ने एक सहयोगी के साथ मिलकर कॉमरेड बलविंदर सिंह संधू के आवास की टोह लेने में कथित तौर पर एक आरोपित इंद्रजीत सिंह की मदद की थी.
गुरविंदर सिंह उर्फ बाबा, सुखमीत पाल सिंह उर्फ सुख भिखारीवाल के साथ संयुक्त रूप से हथियारों की आपूर्ति में शामिल था, जिसका इस्तेमाल हत्या में किया गया था. बयान में कहा गया है कि सुखमीत पाल सिंह ‘नामित व्यक्तिगत आतंकवादी’ लखबीर सिंह रोडे का करीबी सहयोगी है. इस मामले में मूल रूप से 16 अक्टूबर 2020 को तरनतारन के भिखीविंड पुलिस स्टेशन में एक एफआईआर दर्ज की गई थी. इसे 26 जनवरी 2021 को एनआईए ने अपने कब्जे में ले लिया और आईपीसी, आर्म्स एक्ट और यूए(पी) एक्ट की विभिन्न धाराओं के तहत आरसी-01/2021/एनआईए/डीएलआई के रूप में फिर से पंजीकृत किया
साभार- हिन्दुस्थान समाचार
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