रविवार (14 अप्रैल) को बॉलीवुड एक्टर सलमान खान (Salman Khan) के घर पर 2 अज्ञात बदमाशों ने 5 से 6 राउंड फायरिंग की थी. इस घटना के कुछ ही घंटे बाद लॉरेंस बिश्नोई गैंग ने इसकी जिम्मेदारी ली थी. गैंगस्टर लॉरेंस बिश्नोई (Gangster Lawrence Bishnoi) के भाई अनमोल बिश्नोई ने सोशल मीडिया पोस्ट कर इस घटना की जिम्मेदारी लेते हुए धमकी देते हुए कहा था अगली बार गोलियां घर पर नहीं चलेंगी.
बता दें कि ऐसा पहली बार नहीं है जब लॉरेंस ने सलमान खान को धमकी दी हो. गैंगस्टर लॉरेंस बिश्नोई सलमान खान की रेकी भी करवा चुका है. जी हां साल 2018 में लॉरेंस के खास गुर्गे संपत नेहरा ने सलमान खाल के गैलेक्सी अपार्टमेंट की रेकी की थी. हालांकि, सलमान पर हमला करने से पहले ही हरियाणा पुलिस ने उसको गिरफ्तार कर लिया था.
गैंगस्टर लॉरेंस सलमान खान को अब तक कई बार जान से मारने की धमकी दे चुका है. अभी कुछ दिनों पहले ही लॉरेंस बिश्नोई गैंग की तरफ से सलमान खान के पिता सलीम खान को धमकी भरी चिट्ठी भी मिली थी और अब रविवार को सलमान खान के घर पर गोलीकांड को अंजाम दिया गया है. आखिर गैंगस्टर लॉरेंस बिश्नोई गैंग सलमान खान के पीछे क्यों पड़ा है? आइए इसके पीछे की पूरी इनसाइड स्टोरी जान लेते हैं.
आखिर सलमान खान के पीछे क्यों पड़ा है लॉरेंस?
सलमान खान और गैंगस्टर लॉरेंस बिश्नोई के दुश्मनी की वजह काला हिरण शिकार का मामला है. दरअसल, बिश्नोई समाज के लोग काला हिरण को भगवान की तरह मानते हैं और पूजा करते हैं. इसी वजह से साल 2018 में काला हिरण मामले में सलमान का नाम फिर से चर्चा में आने के बाद से लॉरेंस बिश्नोई ने सलमान खान को माफी मांगने की धमकी दी थी. लेकिन सलमान ने माफी नहीं मांगी जिसके बाद से लॉरेंस सलमान को अपना दुश्मन समझ बैठा और जान से मारने की धमकी देने लगा.
क्या है काला हिरण शिकार मामला?
साल 1998 में जोधपुर में फिल्म ‘हम साथ-साथ हैं’ की शूटिंग चल रही थी और 27-28 सितंबर की रात को घोड़ा फार्म हाउस में काले हिरण के शिकार का मामला सामने आया था. जिसका आरोप सलमान खान पर लगा था. आरोप था कि रात में सलमान खान और उनके साथी कलाकार भवाद गांव में रात में शिकार खेलने गए थे और इस दौरान सलमान खान ने काला हिरण का शिकार किया था.
इसके बाद शिकार का दूसरा मामला 1 अक्टूबर 1998 की रात को सामने आया. जोधपुर के कांकाणी गांव में रात में करीब 2 बजे के आसपास सफेद रंग की जिप्सी इलाके में घूम रही थी. जिसको देखकर गांववालों को शक हुआ कि शिकारी काले हिरण की तलाश में है. जिसके बाद जब गोली चली तो गांव वाले लाठी डंडों के साथ जिधर से गोली की आवाज आई थी उधर दौड़ पड़े. मौके पर पहुंचने के बाद गांववालों ने देखा कि दो काले हिरणों को गोली मारी गई है. तभी गांववालों ने वहां से जिप्सी को भागते देखा. जिसके बाद गांववालों ने उसका पीछा किया. हालांकि, जिप्सी भागने में सफल साबित हुई. लेकिन इस दौरान कुछ लोगों ने जिप्सी में मौजूद नौजवानों के बीच सलमान खान को पहचान लिया था. जिसके बाद वन विभाग के अधिकारी ने इस मामले में लूणी पुलिस थाने में सलमान खान के खिलाफ शिकायत दर्ज कराई थी. इस मामले में कुल 4 अलग-अलग तरह के केस दर्ज किए गए थे.
पहला केस
काला हिरण शिकार का पहला मामला अदालत में पहुंचा जिसमें सलमान खान, सैफ अली समेत, अभिनेत्री नीलम, सोनानी और तब्बु को आरोपी बनाया गया था. हालांकि, अदालत में सुनवाई के दौरान इस मामले का चश्मदीद छोगाराम अपने बयान से पलट गया. हद तो तब हो गई जब उसने कोर्ट में अपनी मेडिकल सर्टिफिकेट बनवाकर पेश करते हुए कहा कि उसे कुछ याद नहीं रहता है और इसी वजह से उसे इस मामले की गवाही से दूर रखा जाए.
जिसके बाद काला हिरण शिकार का ये मामला जोधपुर की सीजेएम कोर्ट में चलने लगा और 12 अक्टूबर 1998 को इस मामले में पहली बार सलमान खान की गिरफ्तारी हुई और 5 दिन तक उन्हें जेल में रखा गया. जिसके बाद 17 अक्टूबर 1998 को सलमान खान को जोधपुर जेल से जमानत मिल गई थी. वहीं दूसरी तरफ कोर्ट में ये मामला चल रहा था और 17 फरवरी 2006 को सलमान खान को सीजेएम कोर्ट ने दोषी करार देते हुए 1 साल की सजा सुना दी थी. लेकिन सलमान ने कोर्ट के इस फैसले को हाई कोर्ट में चैलेंज कर दिया और हाई कोर्ट ने इस मामले में सलमान को बरी कर दिया था.
दूसरा केस
वहीं दूसरे मामले में सीजेएम कोर्ट ने 10 अप्रैल 2006 को सलमान खान को दोषी मानते हुए 5 साल की सजा सुनाई थी. घोड़ा फार्म हाउस शिकार मामले में एक्टर को 10 अप्रैल 2006 से 15 अप्रैल 2006 यानी कुल 6 दिन सेंट्रल जेल की हवा खानी पड़ी थी. हालांकि, कोर्ट के इस फैसले को सलमान ने फिर से हाई कोर्ट में चैलेंज कर दिया और हाई कोर्ट ने उन्हें फिर से बरी कर दिया था. बता दें कि सेशल कोर्ट में सजा बरकरार रहने के बाद भी सलमान को 26 अगस्त 2007 से 31 अगस्त 2007 तक जेल का हवा खाना पड़ा था. लेकिन बाद में वो जमानत पर रिहा हो गए थे.
तीसरा केस
सलमान खान के खिलाफ तीसरा केस आर्म्स एक्ट से जुड़ा था. जिसमें आरोप लगा था कि 22 सिंतबर 1998 को सलमान खान के कमरे की छानबीन के दौरान पुलिस ने एक रिवॉल्वर और एक राइफन बरामद की थी. हालांकि, तीसरे केस में भी सलमान खान बरी हो गए थे.
चौथा केस
काला हिरण शिकार मामले के चौथे केस में सलमान खान को जोधपुर कोर्ट ने दोषी माना था. इस मामले में कुल 51 गवाहों की सूची पेश की गई थी जिसमें से 28 गवाहों ने अपने बयान दर्ज करवाए थे और फिर इस मामले में आरोपितों का भी बयान लेकर दोनों पक्षों की अंतिम बहस 28 मार्च 2018 तक पूरी कर ली गई थी. और फिर 5 अप्रैल 2018 को काला हिरण मामले में सलमान खान को दोषी करार देते हुए कोर्ट ने 5 साल की सजा सुनाई थी. हालांकि, कोर्ट ने सैफ अली खान, अभिनेत्री नीलम, तब्बु, सोनामी समेत दुष्यंत सिंह को बरी कर दिया था. कोर्ट के फैसले के बाद उन्हें जोधपुर सेंट्रल जेल भेज दिया गया था. हालांकि, 7 अप्रैल को सलमान ने 50 हजार के मुचलके पर जमानत ले लिया था.
इसके बाद फरवरी 2021 में राजस्थान सरकार ने हाई कोर्ट में याचिका दायर कर आरोप लगाया था कि सलमान खान ने आर्म्स एक्ट के संबंध में फर्जी हलफनामा दाखिल किया था. लेकिन 11 फरवरी को जोधपुर जिला और सत्र न्यायालय ने राजस्थान सरकार की याचिका को खारिज कर दी थी. इसके बाद 21 मार्च 2022 को राजस्थान हाई कोर्ट ने1988 के काले हिरण शिकार मामले में जोधपुर जिला और सत्र न्यायालय से उन दोनों दो याचिकाओं को ट्रांसफर करने की अनुमति दी थी जिसमें सलमान खान को आरोपी बनाया गया था. वहीं सलमान ने भी हाई कोर्ट में एक याचिका दायर कर तीनों मामले की सुनवाई एक साथ करने की अपील की थी. फिलहाल ये मामला अभी भी कोर्ट में लंबित है.
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