कांग्रेस से इस्तीफा देने के बाद राधिका खेड़ा ने पार्टी के छत्तीसगढ़ ईकाई और कई शीर्ष नेताओं पर गंभीर आरोप लगाए हैं.
राधिका खेड़ा ने सोमवार को प्रेस कांन्फ्रेंस कर पार्टी के छत्तीसगढ़ स्थित कार्यालय में उनके साथ दुर्व्यवहार का आरोप लगाया. उन्होंने का कि पार्टी कार्यालय में उन्हें अपशब्द कहे गए. भूपेश बघेल ने उन्हें छत्तीसगढ़ से खदेड़ दिया.
यहां तक की उन्होंने संगीन आरोप लगाते हुए कहा कि राहुल गांधी की भारत जोड़ो न्याय यात्रा के दौरान, छत्तीसगढ़ कांग्रेस के मीडिया प्रभारी सुशील आनंद शुक्ला ने मुझे शराब की पेशकश की और वह 5-6 पार्टी कार्यकर्ताओं के साथ मेरे कमरे का दरवाजा खटखटाते थे.
खेड़ा ने आरोप लगाया कि राम मंदिर के दर्शन करने के बाद से पार्टी के लोग उनसे नफरत करने लगे. राधिका ने कहा, “मैंने हमेशा सुना है कि कांग्रेस राम विरोधी, सनातन विरोधी और हिंदू विरोधी है लेकिन मैंने कभी इस पर विश्वास नहीं किया. महात्मा गांधी हर बैठक की शुरुआत ‘रघुपति राघव राजा राम’ से करते थे. मुझे असलियत तब पता चली जब मैं अपनी दादी के साथ राम मंदिर गई और वहां से लौटने के बाद मैंने अपने घर के दरवाजे पर ‘जय श्री राम’ का झंडा लगा दिया और उसके बाद कांग्रेस पार्टी मुझसे नफरत करने लगी. जब भी मैंने तस्वीरें या वीडियो पोस्ट किए तो मुझे डांटा गया और पूछा गया कि जब चुनाव चल रहे थे तो मैं अयोध्या क्यों गई.”
खेड़ा ने कहा कि उन्होंने पार्टी के शीर्श नेताओं जैसे पवन खेड़ा, सचिन पायलट यहां तक की जयराम रमेश से भी इसकी शिकायत की लेकिन किसी ने भी उन्हें न्याय नहीं दिलाया. उन्होंने कहा कि उनके साथ ये दुर्व्यवहार इसलिए लिया किया गया क्योंकि वह हिंदुवादी सोच रखती हैं.
#WATCH | Delhi: On her resignation from the Congress party, Radhika Khera says "I always heard that Congress is anti-Ram, anti-Sanatan and anti-Hindu but I never believed it. Mahatma Gandhi used to start every meeting with 'Raghupati Raghav Raja Ram'. I got exposed to the reality… pic.twitter.com/bIWBut1UFZ
— ANI (@ANI) May 6, 2024
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