रांची: भाजपा के तत्कालीन राष्ट्रीय अध्यक्ष अमित शाह के खिलाफ आपत्तिजनक टिप्पणी से जुड़े मामले में राहुल गांधी समन के बावजूद शनिवार को रांची के एमपी-एमएलए कोर्ट में हाजिर नहीं हुए. इस पर शिकायतकर्ता के वकील ने राहुल गांधी के खिलाफ गिरफ्तारी वारंट जारी करने का आग्रह किया लेकिन कोर्ट ने इनकार कर दिया.
एमपी-एमएलए के विशेष न्यायाधीश सार्थक शर्मा की कोर्ट ने कहा कि जारी समन मिला है या नहीं, इसका सर्विस रिपोर्ट कोर्ट को नहीं मिला है. इसको देखते हुए वारंट अभी जारी नहीं किया जा सकता है. मामले में उपस्थिति की अगली तिथि निर्धारित की गई है. सुनवाई के दौरान शिकायतकर्ता नवीन झा के अधिवक्ता विनोद कुमार साहू ने पैरवी की.
इससे पूर्व कोर्ट ने राहुल गांधी को समन जारी कर कोर्ट में उपस्थित होने को कहा था. राहुल गांधी की ओर से पूर्व में एमपी-एमएलए कोर्ट द्वारा जारी समन को हाई कोर्ट में चुनौती दी गई थी, जिसे हाई कोर्ट ने खारिज कर दिया था. इसके बाद एमपी-एमएलए कोर्ट ने राहुल गांधी को फिर से समन जारी किया है.
उल्लेखनीय है कि वर्ष 2018 में मामले में शिकायतवाद दर्ज होने के बाद रांची सिविल कोर्ट ने पहली बार राहुल गांधी को समन जारी किया था. यह शिकायतवाद भाजपा कार्यकर्ता नवीन झा ने वर्ष 2018 को किया है. याचिका में कहा गया है कि कांग्रेस के तत्कालीन राष्ट्रीय अध्यक्ष राहुल गांधी ने दिल्ली में आयोजित अधिवेशन में भाजपा के तत्कालीन राष्ट्रीय अध्यक्ष अमित शाह के खिलाफ आपत्तिजनक टिप्पणी की थी.
नवीन झा के मुताबिक, इस दौरान राहुल ने कहा था कि भाजपा में एक हत्यारा अध्यक्ष बन सकता है लेकिन कांग्रेस में ऐसा नहीं हो सकता. इस बयान से उन्हें ठेस पहुंची है. पार्टी की छवि खराब हुई है. इस वजह से शिकायतवाद दायर की थी.
हिन्दुस्थान समाचार
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