उत्तर प्रदेश की योगी सरकार ने नई सोशल मीडिया पॉलिसी पर मुहर लगा दी है. योगी कैबिनेट से इस पॉलिसी को मंजूरी मिल गई है. नई पॉलिसी के अनुसार सोशल मीडिया प्लेटफॉर्मों पर देश विरोधी और आपत्तिजनक पोस्ट करने वाले पर शिकंजा कसा गया है. ऐसे यूजर्स के लिए 3 साल से लेकर उम्रकैद तक की सजा का प्रावधान किया गया है.
अभी तक आईटी एक्ट की धारा 66E, और 66F के तहत कार्रवाई की जाती है. इसके अलावा अभद्र एवं अश्लील सामग्री पोस्ट करने पर आपराधिक मानहानि के मुकदमे का भी सामना करना पड़ सकता है.
इसके साथ ही सरकार ने डिजिलट एजेंसी और फर्म के लिए सरकारी विज्ञापनों की भी व्यवस्था की है. विभिन्न सोशल मीडिया प्लेटफॉर्म एक्स, फेसबुक, इंस्टाग्राम और यू-ट्यूब पर सरकार की जनकल्याणकारी योजनाओं और सरकार की उपलब्धियों पर आधारित कॉन्टेंट, वीडियो, ट्वीट, पोस्ट और रील को शेयर करने पर उन्हें विज्ञापन देकर प्रोत्साहित किया जाएगा.
विज्ञापन का लाभ लेने के लिए सरकार ने 4 श्रेणियों में सब्सक्राइबर और फॉलोअर्स के आधार पर बांटा गया है. इन श्रेणियों के हिसाब से उन्हें 5 लाख, 4 लाख, 3 लाख और 30 हजार रुपये प्रति महीना दिया जाएगा. जबकि यूट्यूब वीडियो शॉट और पॉडकास्ट भुगतान के लिए 8 लाख रुपये, 7 लाख रुपये, 6 लाख रुपये और 4 लाख रुपये रखा गया है.
बता दें इस पॉलिसी का उद्देश्य सोशल मीडिया पर फैल रही नफरत और झूठी खबरों पर लगाम लगाना है. सरकार का मानना है कि लोग सोशल मीडिया पर गलत खबर वायरल और शेयर करते हैं. जिससे कई बार देश की एकता और अखंडता पर खतरा बन जाता है. सरकार ने सोशल मीडिया पर ऐसे कंटेंटों पर रोक लगाने के लिए पॉलिसी में सख्त सजा का ऐलान किया है.
ये भी पढ़ें- पश्चिम बंगाल में बवाल… भाटपाड़ा में बीजेपी नेता की गाड़ी पर हमला, कई जगह रोकी गई रेल
ये भी पढ़ें- प्रधानमंत्री जन-धन योजना को 10 साल पूरे, 53 करोड़ लोगों के खुलवाए बैंक खाते
कमेंट