नई दिल्ली: केंद्रीय मंत्रिमंडल ने बुधवार को कई महत्वपूर्ण परियोजनाओं को मंजूरी प्रदान की है. मोदी कैबिनेट ने गुजरात के लोथल में राष्ट्रीय समुद्री विरासत परिसर (एनएमएचसी) के विकास को मंजूरी प्रदान कर दी.
प्रधानमंत्री नरेन्द्र मोदी की अध्यक्षता में केन्द्रीय मंत्रिमंडल ने स्वैच्छिक संसाधनों या योगदान के माध्यम से धन जुटाकर और धन जुटाने के बाद मास्टर प्लान के अनुसार चरण 1बी और चरण 2 के लिए सैद्धांतिक मंजूरी दी है. परियोजना का चरण 1ए 60 प्रतिशत पूरा हो चुका है और 2025 तक पूरा करने की योजना है.
केन्द्रीय मंत्री अश्वनी वैष्णव ने मंत्रिमंडल के फैसलों की जानकारी देते हुए बताया कि भारत की 4,500 साल पुरानी समुद्री विरासत को प्रदर्शित करने के प्रधानमंत्री के दृष्टिकोण के अनुसार बंदरगाह, जहाजरानी और जलमार्ग मंत्रालय लोथल में एक विश्व स्तरीय राष्ट्रीय समुद्री विरासत परिसर (एनएमएचसी) स्थापित कर रहा है.
एनएमएचसी परियोजना के विकास में 15 हजार प्रत्यक्ष रोजगार और 7 हजार अप्रत्यक्ष रोजगार के साथ लगभग 22 हजार नौकरियां सृजित होने की उम्मीद है. परियोजना कार्यान्वयन से विकास को बढ़ावा मिलेगा और स्थानीय समुदायों, पर्यटकों और आगंतुकों, शोधकर्ताओं और विद्वानों, सरकारी निकायों, शैक्षणिक संस्थानों, सांस्कृतिक संगठनों, पर्यावरण और संरक्षण समूहों तथा व्यवसायों को काफी मदद मिलेगी.
परियोजना के चरण 1ए में 6 दीर्घाओं वाला एनएमएचसी संग्रहालय होगा. इसमें भारतीय नौसेना और तटरक्षक बल की एक गैलरी भी शामिल है, जिसे देश की सबसे बड़ी गैलरी में से एक माना जा रहा है. इसमें बाहरी नौसेना कलाकृतियाँ (आईएनएस निशंक, सी हैरियर युद्धक विमान, यूएच3 हेलीकॉप्टर आदि), खुली जलीय गैलरी से घिरा लोथल टाउनशिप का प्रतिकृति मॉडल और जेटी वॉकवे शामिल होगा.
चरण 1बी में 8 और दीर्घाओं वाला एनएमएचसी संग्रहालय होगा. लाइट हाउस संग्रहालय जिसे दुनिया का सबसे ऊंचा संग्रहालय बनाने की योजना है. बगीचा परिसर, जिसमें लगभग 1500 कारों के लिए पार्किंग की सुविधा, फूड हॉल, मेडिकल सेंटर आदि हैं.
चरण 2 में तटीय राज्यों के मंडप (संबंधित तटीय राज्यों और केंद्र शासित प्रदेशों द्वारा विकसित किए जाएंगे)। आतिथ्य क्षेत्र (समुद्री थीम वाले इको रिसॉर्ट और संग्रहालयों के साथ), वास्तविक समय में लोथल शहर का मनोरंजन होगा. समुद्री संस्थान और छात्रावास तथा 4 थीम आधारित पार्क (समुद्री और नौसेना थीम पार्क, जलवायु परिवर्तन थीम पार्क, स्मारक पार्क और साहसिक एवं मनोरंजन पार्क) होगा.
राजस्थान-पंजाब के सीमावर्ती इलाको में सड़कों के निर्माण को मंजूरी
केन्द्र सरकार राजस्थान और पंजाब के सीमावर्ती इलाके में 4,406 करोड़ रुपये के निवेश से 2,280 किमी की सड़कों का निर्माण कराएगी. केंद्रीय मंत्रिमंडल ने सीमावर्ती क्षेत्रों में बुनियादी ढांचे के विकास पर जोर देते हुए सड़कों के निर्माण के प्रस्ताव को मंजूरी प्रदान की. केन्द्रीय मंत्री अश्वनी वैष्णव ने मंत्रिमंडल के फैसलों की जानकारी देते हुए बताया कि यह परियोजना मानसिकता में बदलाव का परिणाम है, जिसमें देश के अन्य हिस्सों के समान सुविधाओं के साथ सीमावर्ती क्षेत्रों के विकास पर विशेष ध्यान दिया गया है. इस फैसले से सड़क और दूरसंचार कनेक्टिविटी तथा जल आपूर्ति, स्वास्थ्य और शिक्षा की सुविधाओं पर बड़ा असर पड़ेगा. यह ग्रामीण आजीविका को भी बढ़ाएगा, यात्रा को आसान बनाएगा और बाकी राजमार्ग नेटवर्क के साथ इन क्षेत्रों की कनेक्टिविटी सुनिश्चित करेगा.
हिन्दुस्थान समाचार
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