Ramkrishna Mission Ashram Controversy: शिमला में एक आश्रम की सम्पति को लेकर दो पक्षों के भिड़ने का मामला सामने आया है. शिमला शहर में विधानसभा के समीप रामकृष्ण मिशन के आश्रम में देर रात भारी हंगामा हुआ. मंदिर के सम्पति विवाद को लेकर दोनों पक्षों के बीच टकराव देखने को मिला और पथरबाज़ी हुई. इसमें तीन कांस्टेबल चोटिल हुए हैं. पुलिस ने मौके पर पहुंच कर स्थिति को संभाला. इस घटना को लेकर पुलिस ने दो अलग-अलग एफआईआर दर्ज की है.
मामले के अनुसार राम कृष्ण मिशन और ब्रह्मे समाज के बीच मंदिर व आश्रम की सम्पति को लेकर विवाद चल रहा है और यह मुद्दा सुप्रीम कोर्ट में विचाराधीन है. वर्तमान में आश्रम का संचालन राम कृष्ण मिशन के पास है. बीती रात अचानक ब्रह्मे समाज के लोग मंदिर परिसर में पहुंचे और काफी देर तक पूजा अर्चना करने लगे.
इस पर मंदिर के सचिव ने भक्तों को मंदिर बन्द करने का हवाला दिया और मंदिर को खाली करने को कहा जिस पर विवाद बढ़ गया तथा ब्रह्मे समाज के लोगों ने मंदिर से बाहर जाने से मना कर दिया. इस पर दोनों पक्ष भिड़ गए. घटना की सूचना मिलने पर पुलिस और प्रशासन के अधिकारी मौके पर जा पहुंचे और दोनों पक्षों को शांति कायम रखने के लिए समझाया. इस दौरान ब्रहम समाज के लोग अंदर और बाहर बैठकर ओम जाप करने लगे.
दूसरी तरफ रामकृष्ण मिशन के अनुयायी बैठ गए और नारे लगाने लगे और चेतावनी देने लगे कि इन लोगों को यहां से नहीं उठाया तो यह लोग इनको निकाल देंगे. इसी बीच एक पक्ष के अनुयायियों में एक ने कुर्सी उठाकर दूसरी तरफ फेंकी और फिर दोनों पक्षों ने एक-दूसरे पर पथराव शुरू कर दिया. इससे मंदिर की सम्पति को नुकसान हुआ है और कुछ लोग चोटिल हुए. इस घटना का वीडियो भी सामने आया है.
यह मंदिर होटल लैंडमार्क शिमला के समीप रामकृष्ण मिशन के नाम से प्रसिद्ध है. फिलहाल मंदिर में पुलिस का कड़ा पहरा है और स्थिति नियंत्रण में है. इस पूरी घटना के लिए दोनों पक्ष एक-दूसरे पर आरोप-प्रत्यारोप लगा रहे हैं. इस पूरी घटना को लेकर शिमला पुलिस ने दो अलग-अलग एफआईआर दर्ज की हैं.
पहली एफआईआर में कांस्टेबल पूर्ण चंद ने पुलिस में शिकायत दी है कि शनिवार शाम 5:40 बजे राम कृष्ण मिशन आश्रम में स्वामी तिनमहिमानन्द के प्रवचन के दौरान दर्शन करने करीब 50-60 महिला व पुरूष मन्दिर परिसर में आए तथा का प्रवचन समाप्त होने के बाद भी सभी लोग बाहर नहीं आए और मन्दिर के अन्दर अपने धर्म का कलश स्थापित करने लग गए.
इस पर स्वामी तिनमहिमानन्द ने इनको कलश स्थापित करने के लिए मना किया तो यह नहीं माने और अपने मन्त्र के साथ कलश स्थापित करने की कार्यवाही शुरू कर दी. वे किसी को अन्दर नहीं जाने दे रहे थे और दोनों दरवाजों पर बैठ गए. मौके पर पुलिस व एसडीएम आए और दोनों पक्षों को समझाया तथा कानून व्यवस्था बनाए रखने की अपील की. लेकिन बाहर से आये ब्रहम समाज के लोग अन्दर व बाहर बैठ कर पूजा करने लगे.
दूसरी तरफ रामकृष्ण मिशन के अनुयायी बैठ गए और नारे लगाने लगे और चेतावनी देने लगे कि इन लोगों को यहाँ से नहीं उठाया तो यह लोग इनको निकाल देंगे. इस पर रामकृष्ण मिशन के अनुयायियों में एक महिला ने कुर्सी उठाकर दुसरी तरफ महिलाओं पर कुर्सी फैंकी और फिर देखते देखते एक दुसरे पर पथराव शुरू कर दिया और गमले फैंके पुलिस ने दोनों पक्षों को रोकने की कोशिश की.
पुलिस पर भी पथराव हुआ पुलिस ने सुरक्षा की दृष्टि से मन्दिर परिसर में बैठे लोगों को वहां से उठने के लिए कहा और जब वह वहाँ से नहीं हटे तो पुलिस ने शान्तिपूर्ण तरीके से उनकी सुरक्षा के लिए वहाँ से उठाना चाहा परन्तु वह लोग वहाँ से उठ कर अन्दर मन्दिर में घुस गए और मन्दिर को अन्दर से बंद कर दिया. रामकृष्ण मिशन के लोगों ने डंडों से पत्थरों गमलों से दुसरे पक्ष के साथ मारपीट की है.
अन्दर वालों ने माईक तोडकर बाहर को मारे है. जिससे मन्दिर परिसर का नुकसान हुआ है और लोगों को चोटें आयी हैं. इस पर शिमला पुलिस ने बीएनएस की धारा 298, 194 (2), 191 (2), 191 (3), 190, 115 (2), 324 (4), 352, 351 (2) के तहत एफआईआर दर्ज की है.वहीं दूसरी एफआईआर कांस्टेबल साहिल की शिकायत पर दर्ज हुई है.
कांस्टेबल साहिल ने शिकायत में कहा है कि वह त्वरित पुलिस बल के सदस्यों के साथ रामकृष्ण मिशन आश्रम में डयुटी पर तैनात थे. रामकृष्ण मिशन आश्रम के सदस्यों व अनुयायियों ने मंदिर परिसर के बरामदे में रखी कुर्सी को उठाकर दुसरे पक्ष ब्रहमो समाज की महिलाओं पर फेंका. इस दौरान हुई पत्थर लगने से वह, कांस्टेबल अनिल और कांस्टेबल विदित चोटिल हुए हैं. पुलिस ने शिकायत के आधार पर बीएनएस की धारा 132, 121, 221 के तहत केस दर्ज किया है.
हिन्दुस्थान समाचार
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