नया साल बस दरवाजे पर दस्तक दे रहा है. 2024 कुछ खट्टी-मिट्ठी यादें देकर अलविदा कह रहा है. इस साल के शुरूआत से अंत तक देश में राजनेताओं की बयानबाजी चर्चा के केंद्र में रही. चाहे लोकसभा- विधासनभा चुनाव के दौरान कैंपेनिंग की बात हो या सदन में दिए गए भाषण, सड़क से संसद तक इन नेताओं के बयान खूब सुर्खियां बने. टीवी के परदे पर, अखबारों की हेटलाइंस में नेताओं के बयान छाए रहे. आइए जानते हैं ऐसे ही कुछ बयानों के बारे में…
पीएम मोदी ने मुजरे का किया जिक्र
लोकसभा चुनाव में प्रचार के दौरान पीएम मोदी ने बिहार के काराकाट में एक रैली को संबोधित किया. इस दौरान पीएम मोदी ने विपक्ष पर निशाना साधते हुए कहा कि इंडी गठबंधन के लोग गुलाम बन सकते हैं और अपने वोट बैंक को खुश करने के लिए मुजरा तक कर सकते हैं. इस बयान की राजनीतिक जगत में खूब चर्चा हुई. विपक्ष ने भी पीएम मोदी पर पलटवार किया था.
मल्लिकार्जुन खड़गे ने RSS-बीजेपी को बताया जहर
कांग्रेस के राष्ट्रीय अध्यक्ष मल्लिकार्जुन खड़गे ने सांगली में एक रैली के दौरान RSS और बीजेपी की तुलना जहर से कर दी. खड़गे ने कहा कि कहा भारत में राजनीतिक रूप से सबसे खतरनाक कोई चीज है तो वो भाजपा और आरएसएस हैं, वो जहर की तरह हैं. खड़गे ने आगे कहा, जहरीले सांप के काटने से लोग मर जाते हैं. ऐसे जहरीले सांपों को मार देना चाहिए.
सीएम योगी ने दिया ‘बटेंगे तो कटेंगे’ का नारा
यूपी के सीएम योगी आदित्यनाथ ने हरियाणा- महाराष्ट्र विधानसभा चुनाव में जमकर प्रचार किया. इस दौरान सीएम योगी ने बांग्लादेश में हिंन्दुओं पर हो रहे अत्याचार को लेकर चुनावी रैली में बटंगे तो कटेंगे का नारा दिया. एक रैली को संबोधित करते हुए सीएम योगी ने कहा कि राष्ट्र से ऊपर कुछ नहीं है. उन्होंने कहा देश तभी आगे बढ़ेगा. जब हम एक रहेंगे. बंटेंगे तो कटेंगे, एक रहेंगे तो नेक रहेंगे, सभी रैलियों के मंचों से यह नारे लगवाए.
राहुल गांधी ने बताया- तपस्या का मतलब शरीर में गर्मी पैदा करना
कांग्रेस नेता राहुल गांधी ने लोकसभा में संविधान पर चर्चा के दौरान अपनी स्पीच दी. इसी दौरान राहुल गांधी ने एकलव्य की कथा सुनाते हुए तपस्या का अर्थ शरीर में गर्मी पैदा करना बता दिया. राहुल गांधी ने एकलव्य का जिक्र करते हुए कहा कि जंगल में हजारों सालों तक एक बच्चा सुबह उठकर तपस्या करता था. रोज सुबह उसने घंटों तपस्या की और सालों तक तपस्या की. तपस्या शब्द पर जब टोका गया तो उन्होंने कहा तपस्या का मतलब शरीर में गर्मी पैदा करना. जिसके बाद सत्तापक्ष में बैठे लोग हंसने लगे. राहुल गांधी के इस बायन ने सोशल मीडिया पर खूब सूर्खियां बटोरी.
पहले भाषण में अपनी ही सरकार पर बरस गईं प्रियंका गांधी
प्रियंका गांधी ने राहुल गांधी से पहले संविधान पर चर्चा के दौरान अपना भाषण दिया. इस दौरान प्रियंका गांधी ने हिमाचल प्रदेश में अपनी ही सरकार पर बरस गई. उन्होंने कहा कि ‘आज हिमाचल में देखिए, जितने भी कानून बने हैं, वो सब बड़े-बड़े उद्योगपतियों के लिए बने हैं. हिमाचल में जो सेब उगता था, उसको उगाने वाले छोटे-छोटे किसान आज रो रहे हैं, क्योंकि एक व्यक्ति के लिए सब कुछ बदला जा रहा है.’ अब प्रियंका अदाणी के जरिए सरकार को घेरना चाह रही थी लेकिन शायद वो भूल गई कि हिमाचल में तो कांग्रेस की ही सरकार है.
बाबा साहेब पर गृहमंत्री अमित शाह के बयान से मचा संग्राम
राज्यसभा में संविधान पर चर्चा का जवाब देते हुए गृहमंत्री अमित शाह ने विपक्ष पर आंबेडकर विरोधी होने का आरोप लगाया था. अमित शाह ने कहा था आजकल बाबा साहेब का नाम लेना फैशन हो गया है. इतना नाम अगर भगवान का लिया होता तो स्वर्ग मिल जाता. अमित शाह ने कहा कि पहली कैबिनेट से आंबेडकर के इस्तीफे देने पर कांग्रेस को घेरा.
वहीं अमित शाह के बयान छोटी सी क्लिप काटकर विपक्ष ने बाबा साहेब का अपमान बताया. बीजेपी और खुद अमिश शाह ने बयान को तोड़-मरोड़ कर पेश करना का आरोप कांग्रेस पर लगाया. पीआईबी फैक्ट चैक में विपक्ष के आरोपों को भ्रामक बाताया गया है.
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