Maha Kumbh 2025: तीर्थराज प्रयागराज में चल रहे विश्व के सबसे बड़े मेले महाकुम्भ के अंतिम और तीसरे अमृत स्नान के मौके पर प्रयागराज में करोड़ों श्रद्धालुओं ने पवित्र संगम में आस्था की डुबकी लगाई. देश के कोने-कोने से यहां पहुंचे अलग-अलग वेशभूषा, बोलचाल, रंग-ढंग के लोगों ने भावनात्मक एकता का शानदार परिचय दिया. बसंत पंचमी के दौरान प्रयागराज की सर्दी श्रद्धालुओं की आस्था के आड़े न आ सकी. आधी रात से संगम में श्रद्धालु पवित्र डुबकी लगाने के लिए जुटने लगे थे. ये सिलसिला भाेर से लेकर दिनभर चला और अभी भी जारी है. मेला प्रशासन ने बताया कि 2 फरवरी की रात्रि से बसंत पंचमी के स्नान मुहूर्त आरंभ हो गया था. इस दौरान 40 घाटों पर अबतक 2.57 करोड़ श्रद्धालु संगम में डुबकी लगा चुके है. अभी रात्रि तक स्नान जारी रहेगा. श्रद्धालु लगातार स्नान कर रहे हैं.
तीसरे अमृत स्नान पर अखाड़ों के साधु-संत निर्धारित क्रम एवं समय के अुनसार गाजे-बाजे के साथ संगम तट की ओर प्रातः 4 बजे बढ़े. साधु-संतों और नागा साधुओं की झलक देखने के लिए लाखों श्रद्धालु मार्ग में खड़े थे. साधु-संतों और नागाओं को देखते ही श्रद्धालुओं की भीड़ हर-हर महादेव का जयकारा जोर से लगाती रही. हर-हर महादेव के उद्घोष के साथ अखाड़ों ने अंतिम और तीसरा शाही स्नान किया.
इस अखाड़े ने किया पहला स्नान
वर्षों से चली आ रही परम्परा को इस बार भी दोहराया गया. महानिर्वाणी एवं शम्भू पंचायती अटल अखाड़ा को स्नान का पहला अवसर मिला. ऐसे में आज सुबह 5 बजे पंचायती अखाड़ा महानिर्वाणी ने अमृत स्नान किया. इसके पीछे निरंजनी अखाड़ा, आनन्द अखाड़ा, जूना अखाड़ा, दशनाम आवाहन अखाड़ा और पंचाग्नि अखाड़ा, पंच निर्मोही, पंच दिगंबर, पंच निर्वाणी, अनी अखाड़ा, नया उदासीन अखाड़ा बड़ा उदासीन और अन्य अखाड़े अमृत स्नान किया.
हेलिकाप्टर से पुष्पवर्षा, अभिभूत हुए संत, संन्यासी और श्रद्धालु
महाकुम्भ के अंतिम अमृत स्नान में संगम तट पर डुबकी लगाने पहुंचे करोड़ों श्रद्धालुओं पर योगी सरकार ने हेलीकॉप्टर से पुष्प वर्षा कराई. हेलीकॉप्टर से सभी घाटों और अखाड़ों पर स्नान के दौरान श्रद्धालुओं पर फूलों की बारिश की गई. पुष्प वर्षा की शुरुआत सुबह 6.30 बजे से ही हो गई और सायं तक चलती रही, जब तक अखाड़ों का अमृत स्नान जारी रहा. गुलाब की पंखुड़ियों की आसमान से हो बारिश देख संगम तट पर मौजूद नागा संन्यासी, संत समाज और श्रद्धालु अभिभूत हो गए. हर तरफ जय श्री राम और हर हर महादेव का उद्घोष आरम्भ हो गया. महाकुम्भ के सभी तीनों अमृत स्नान पर अखाड़ों के संतों, श्रद्धालुओं और कल्पवासियों पर हेलीकॉप्टर से पुष्प वर्षा की गई है.
मुख्यमंत्री योगी ने दी बधाई
महाकुम्भ में पवित्र त्रिवेणी संगम में अमृत स्नान कर पुण्य लाभ अर्जित करने वाले पूज्य साधु-संतों, धर्माचार्यों, सभी अखाड़ों, कल्पवासियों एवं श्रद्धालुओं को मुख्यमंत्री योगी आदित्यनाथ ने बधाई दी. मुख्यमंत्री ने इस महाकुम्भ को भारत की सांस्कृतिक धरोहर और आध्यात्मिक मूल्यों को प्रस्तुत करने का एक महत्वपूर्ण अवसर बताया और इसके द्वारा समाज में शांति, समृद्धि और सद्भाव की भावना को साझा करने की शुभकामनाएं दीं.
ठंड पर भारी पड़ा आस्था का सैलाब
गंगा-यमुना और अदृश्य सरस्वती के पावन संगम पर लोगों ने शुभ-मुहूर्त के शुभारम्भ से ही डुबकी लगानी शुरु कर दी थी. हल्के कोहरे तथा ठण्ड पर भी लोगों की आस्था का सैलाब भारी रहा. संगम क्षेत्र में रात्रि से ही आस्था और श्रद्धा का जनसैलाब उमड़ने लगा. मौनी अमावस्या के दौरान हुए हादसे के बाद बसंत पंचमी पर हर श्रद्धालु में जबरदस्त जोश और उत्साह देखने को मिला. स्नान के बाद श्रद्धालुओं, स्नानार्थियों के दान-पुण्य का कार्यक्रम जारी रहा. आस्था के जनसैलाब को दृष्टिगत रखते हुए मेला प्रशासन ने बड़ी ही चुस्त-दुरुस्त व्यवस्था बनाए रखी. श्रृंग्वेरपुर से लेकर किला घाट तक गंगा, यमुना और संगम तट के दोनों तरफ 8 किमी में बनाए गये 40 सुगम घाटों पर खुले क्षेत्रों में लोगों ने स्नान किया. सुव्यवस्थित वेंडिंग जोन तथा सुगम यातायात व्यवस्था के प्रभाव से स्नानार्थियों का अवागमन व्यवस्थित एवं सुगम रहा. कहीं भी जाम की स्थिति उत्पन्न नहीं होने पाई. कम से कम पैदल दूरी पर चलकर श्रद्धालुओं ने स्नान किया. मेला क्षेत्र से किसी अप्रिय घटना की जानकारी नहीं मिली. मेला प्रशासन पूरी तैयारी के साथ चप्पे-चप्पे पर नज़र रख रहा है. श्रद्धालुओं को विनम्रता के साथ मार्गदर्शन करते हुए सुरक्षित गंतव्य तक पहुंचाया जा रहा है.
सुरक्षा के पुख्ता प्रबंध
मौनी अमावस्या के स्नान के दौरान मची भगदड़ में 30 श्रद्धालुओं की मौत के बाद तीसरे अमृत स्नान में मेला प्रशासन सर्तकता बरत रहा है. मेला प्रशासन ने तीसरे अमृत स्नान के लिए स्पेशल प्लान बनाया है. इसमें सभी श्रद्धालुओं के लिए वनवे रूट की व्यवस्था की गयी. त्रिवेणी के घाटों पर अत्यधिक दबाव रोकने के लिए अतिरिक्त पुलिस बल और बैरिकेड तैनात किए गए हैं. इसके साथ ही सुरक्षा व्यवस्था और अधिक कड़ी कर दी गई है. श्रद्धालुओं को संगम या अन्य घाटों तक पहुंचने में दिक्कत ना हो, इसके प्रबंध किए गए हैं. प्रभावी पेट्रोलिंग के लिए 15 मोटर साइकिल दस्ते तैनात किए गए हैं. प्रमुख चौराहों और डायवर्जन प्वाइंट्स के बैरियर पर सीएपीएफ और पीएसी का इंतजाम किया गया है. श्रद्धालुओं की सुरक्षा के लिहाज से वन वे रूट तैयार किया गया है. इसके अलावा पांटून पुलों पर मेले में आने वाले लोगों को किसी प्रकार की दिक्कत न आने पाए, इसके भी विशेष इंतजाम किए गए हैं.
अब तक 37 करोड़ लगा चुके आस्था की डुबकी
13 जनवरी को शुरू हुए महाकुम्भ मेले में सोमवार तक 37 करोड़ से ज्यादा श्रद्धालु आस्था की डुबकी लगा चुके हैं। सोमवार सांय 6 बजे तक 2.57 करोड़ श्रद्धालुओं ने आस्था की डुबकी लगाई.
हिन्दुस्थान समाचार
ये भी पढ़ें- Delhi Election 2025: चुनाव से पहले झाडू के तिनके बिखर रहे हैं, AAP पर बरसे PM मोदी
कमेंट