वक्फ संशोधन बिल 2025 संसद के दोनों सदनों से पास होने के बाद अब कानून के रूप में देश में लागू हो चुका हैं. लेकिन पास होने से पहले इस बिल पर लोकसभा और राज्यसभा में जमकर बहस भी हुई. जिसमें पक्ष और विपक्ष दोनों ने अपने-अपने तर्क रखे. सरकार ने इस बिल को वक्फ संपत्तियों के बेहतर प्रबंधन और दुरुपयोग को रोकने के लिए जरूरी बताया. वहीं विपक्ष ने इस बिल को एक विशेष समुदाय को निशाना बनाने वाला कहा. आइए जानते हैं बिल पास होने के दौरान की मुख्य बातें.
लोक सभा में:
–वक्फ संशोधन बिल 2025, लोकसभा से 3 अप्रैल 2025 को पारित हुआ.
–विधेयक पर 12 घंटे से अधिक समय तक बहस हुई.
–वोटिंग के दौरान 520 सांसदों ने हिस्सा लिया, पक्ष में 288 और विपक्ष में 232 वोट पड़े.
राज्यसभा में:
–राज्यसभा में भी इस बिल पर 12 घंटे से अधिक समय तक तीखी बहस हुई.
–वोटिंग के समय सदन में कुल 223 सांसद मौजूद थे. विधेयक के पक्ष में 128 वोट पड़े, जबकि 95 सांसदों ने इसका विरोध किया.
8 अप्रैल 2025 को देश में लागू हुआ:
वक्फ संशोधन बिल 2025 को दोनों सदनों में पास होने के बाद विधेयक को राष्ट्रपति की मंजूरी के लिए भेजा गया. राष्ट्रपति द्रौपदी मुर्मू ने इस पर 5 अप्रैल को हस्ताक्षर किए. जिसके बाद इस बिल ने अधिनियम यानी कानून का रूप ले लिया. इस कानून को 8 अप्रैल 2025 को देश में लागू कर दिया गया.
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