उत्तर प्रदेश के प्रयागराज में 13 जनवरी से महाकुंभ (Mahakumbh 2025) की शुरुआत हो चुकी है. महाकुंभ में भक्तों, साधु-संतों और विदेशों से आए लोगों का तांता लगा हुआ है. महाकुंभ में अनेक संत आते हैं. इन्हीं में से एक साध्वी हर्षा रिछारिया हैं जो इस समय सोशल मीडिया पर खूब चर्चा में बनी हुई है.
बता दें महाकुंभ में शामिल होने के लिए हर्षा रिछारिया घोड़े पर सवार होकर आई थी. जिसने गले में रुद्राक्ष, फूलों की माला और माथे पर तिलक लगाया हुआ था. इस साध्वी ने महाकुंभ में शामिल हुए कई लोकप्रिय साधुओं को पीछे छोड़ दिया है. साध्वी हर्षा रिछारिया को महाकुंभ की सबसे बेहद सुंदर साध्वी भी कहा जा रहा है. बता दें हर्षा रिछारिया की उम्र 30 वर्षीय है. साध्वी का जीवन जीने से पहले वह एक सोशल मीडिया इनफ्लुएंसर हैं और एंकर के रुप में काम कर चुकी है. उन्होंने महज 16 साल की उम्र से ही छोटे-मोटे विज्ञापन में काम करना शुरु कर दिया था. एक इंटरव्यू के दौरान हर्षा रिछारिया ने बताया कि वह उत्तराखंड से आई हैं और उनके गुरु आचार्य महामंडलेश्वर है. साथ ही उन्होंने बताया कि 2 साल पहले उन्होंने एक साध्वी के तौर पर अपनी जिंदगी जीने का फैसला लिया है. उन्होंने बताया कि आत्मा की शांति और सुकून से जीने के लिए उन्होंने अध्यात्म का रास्ता चुना है.
वीडियो वायरल होने पर हुई ट्रोल
महाकुंभ में घोड़े पर सवार होकर आई साध्वी हर्षा रिछारिया का वीडियो इस समय खूब तेजी से सोशल मीडिया पर वायरल हो रहा है. इसी बीच हर्षा रिछारिया का एक पुराना वीडियो भी सोशल मीडिया पर शेयर हो रहा है, जिसमें वह अपने मनचाहे प्यार को कैसे वश में करें उसके लिए एक मंत्र बताती हुई नजर आ रही है. इसी वजह से सोशल मीडिया यूजर्स ने उन्होंने खूब ट्रोल भी कर रहे हैं.
जानिए कौन हैं साध्वी हर्षा रिछारिया?
साध्वी हर्षा रिछारिया का जन्म उत्तर प्रदेश के झांसी में हुआ था. बाद में वह अपने माता-पिता के साथ मध्यप्रदेश के भोपाल में शिफ्ट हो गई थी. काम के सिलसिले में वह दिल्ली और मुंबई में रहने लगी. बाद में जब उनकी रुचि अध्यात्म की ओर बढ़ने लगी तो उन्होंने साध्वी बनने का फैसला किया. फिलहाल वह अभी उत्तराखंड में रहकर साधना कर रही है. उन्होंने बताया कि गुरु आचार्य महामंडलेश्वर के संपर्क में आने से उनके जीवन में कई सकरात्मक सुधार आएं हैं.
ये भी पढ़ें: Maha Kumbh 2025: मकर संक्रांति के पावन अवसर पर 3.5 करोड़ श्रद्धालुओं ने त्रिवेणी में किया अमृत स्नान
कमेंट